Salaam Bombay Via Versova Dongri

Author: Sarang Upadhyay
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Salaam Bombay Via Versova Dongri
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ग्यारह किस्सों के जरिए, प्रेम की शक्ति और विश्वास की डोर तक पहुँचने वाला यह उपन्यास ‘यूनिक’ है, मुम्बई के निम्न-मध्यवर्गीय जीवन का मिनिएचर बनाते हुए हिन्दी कथा-साहित्य में एक दुर्लभ और विरल पाठकीय अनुभव की सर्जना करता है, राघव और सायरा जैसे दो यादगार किरदारों के जरिए रंग और बदरंग के बीच भावनात्मकता का उदास उत्सव मनाता है और सपनों का ताना-बाना बुनता है। यह सब करते हुए सारंग उपाध्याय का उपन्यास ‘सलाम बॉम्बे व्हाया वर्सोवा डोंगरी’ मुम्बई की आत्मा को एक कड़क कथात्मक सलाम ठोंकता है, वह आत्मा जिसका नाम ‘जिजीविषा’ है। साहित्य की आत्मा का नाम भी दरअसल यही है।

—गीत चतुर्वेदी

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Language Hindi
Format Paper Back
Publication Year 2023
Edition Year 2023, Ed. 1st
Pages 144p
Translator Not Selected
Editor Not Selected
Publisher Rajkamal Prakashan
Dimensions 19 X 12 X 1
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Sarang Upadhyay

Author: Sarang Upadhyay

सारंग उपाध्याय

युवा पत्रकार और लेखक सारंग उपाध्याय का जन्म 9 जनवरी, 1984 को भुसावल, महाराष्ट्र में हुआ। जड़ें मध्य प्रदेश के हरदा जिले में। इन्दौर यूनिवर्सिटी से उच्च शिक्षा मिली। बीते 15 सालों से इन्दौर, मुम्बई, नागपुर, औरंगाबाद, भोपाल और दिल्ली में पत्रकारिता की। वर्तमान में ‘अमर उजाला’ दिल्ली में कार्यरत हैं। सामाजिक, सांस्कृतिक, राजनीतिक और समसामयिक मुद्दों के लेखन में लगातार सक्रिय सारंग सिनेमा में विशेष रुचि रखते हैं। डॉ. राममनोहर लोहिया के साथी बालकृष्ण गुप्त के आलेखों पर केन्द्रित उनकी एक किताब ‘हाशिये पर दुनिया’ 2013 में प्रकाशित है। ‘सलाम बॉम्बे व्हाया वर्सोवा डोंगरी’ उनका पहला उपन्यास है। कहानियों के लिए उन्हें 2018 में म.प्र. हिन्दी साहित्य सम्मेलन के ‘पुनर्नवा पुरस्कार’ से पुरस्कृत किया गया है।

ई-मेल : sonu.upadhyay@gmail.com

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