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Nirala Ka Katha Sahitya-Text Book

Author: Durga Singh
ISBN: 9788196218409
Edition: 2023, Ed. 1st
Language: Hindi
Publisher: Lokbharti Prakashan
₹195.00
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9788196218409
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यह किताब निराला के न केवल कथा, बल्कि समूचे साहित्य को नयी निगाह से देखने का न्यौता देती है और निराला के कथा साहित्य और उनकी कविता को अलगाने वाली समझ भी खंडित करती है। साथ ही निराला के बहाने देश के स्वाधीनता आंदोलन की याद के कारण आजादी के अमृतकाल में विगत को नयी प्रासंगिकता प्रदान करती है।

 

निराला अपनी प्रसिद्धि के बावजूद कुछ ही लेखकों के गम्भीर विवेचन का विषय बने। उनकी रचनात्मकता का दाय तो बहुतों ने ग्रहण किया लेकिन विवेचन कम ने किया। जिन्होंने किया भी उनकी निगाह कविता पर अधिक केंद्रित रही। यह किताब उनके लेखन के अभिन्न अंग, कथा साहित्य के चुनिंदा पाठों का विश्लेषण प्रस्तुत करके निराला साहित्य के सहज बोध को व्यापक पैमाने पर संपन्न बनायेगी। निराला की कहानियों के महत्व को समझने में इस किताब को पढ़ने का फिलहाल कोई विकल्प नजर नहीं आता है। इस किताब को पढ़ने के उपरांत कोई भी पाठक निराला के कथा साहित्य को अधिक सजग होकर पढ़ेगा और उसके लिए यह साहित्य ऐसे तमाम अर्थ प्रेषित करेगा जिनको खोलना उसकी जिम्मेदारी में शामिल होगा।

-गोपाल प्रधान

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Language Hindi
Binding Paper Back
Translator Not Selected
Editor Not Selected
Publication Year 2023
Edition Year 2023, Ed. 1st
Pages 150p
Price ₹195.00
Publisher Lokbharti Prakashan
Dimensions 21 X 13.5 X 1
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Author: Durga Singh

दुर्गा सिंह

12 अप्रैल 1977 को पृथ्वीपुर, जौनपुर में जन्म। प्रारम्भिक शिक्षा गाँव से तथा उच्च शिक्षा इलाहाबाद विश्वविद्यालय से अर्जित की। मार्कण्डेय की कहानियों पर शोध तथा उनके अप्रकाशित साहित्य का सम्पादन। स्वतंत्र लेखन और संस्कृतिकर्म ।

वर्तमान में प्रतापगढ़ के बद्री नारायण सिंह पी.जी. कॉलेज में प्राचार्य ।

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