Jungli Gulab/Hatheli Bhar Kahaniyan/Sanshodayu/Jalpari/Bin Kan Ka Hoichi/Lomari Ki Japmala/Varshingtan Postmarch/Rakshas Phoot Phoot Kar Roya/Meri Didi/Nak Bani Musibat/Japani Sahitya Darshan/Tasveer Ka Pher/Paanch chor/Varshingtan Postmarch/Nak Bani Musi
Jungli Gulab/Hatheli Bhar Kahaniyan/Sanshodayu/Jalpari/Bin Kan Ka Hoichi/Lomari Ki Japmala/Varshingtan Postmarch/Rakshas Phoot Phoot Kar Roya/Meri Didi/Nak Bani Musibat/Japani Sahitya Darshan/Tasveer Ka Pher/Paanch chor/Varshingtan Postmarch/Nak Bani Musi
शिक्षा : एम.ए., एम.फ़िल्., पी-एच.डी. (जापानी भाषा एवं साहित्य), जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय।
डॉ. उनीता सच्चिदानन्द दिल्ली विश्वविद्यालय के चीनी व जापानी अध्ययन विभाग में रीडर हैं। आधुनिक जापानी साहित्य व विधिवत् अध्ययन व शोध नारा महिला विश्वविद्यालय, जापान में सम्पन्न किया। सन् 1990 में जापानी सरकार की छात्र-वृत्ति एवं 1999 में जापान फ़ाउंडेशन फ़ेलोशिप पर जापान के कई विश्वविद्यालयों से सम्बन्धित डॉ. उनीता 1980 से लगातार हिन्दी बाल पत्रिकाओं के ज़रिए जापानी लोक व बाल-साहित्य हिन्दी में उपलब्ध कराती रही हैं। 1997 में ‘फूजी पहाड़ से’ जापानी लोककथाओं का सचित्र संग्रह (पाँच भागों में) और जापानी युवा कहानियों के तीन संग्रह राजकमल प्रकाशन द्वारा 1998 में प्रकाशित एवं भारतीय लोक व बाल-साहित्य के जापानी रूपान्तरण जापान में प्रकाशित।