Alakshit Akhyan : Stri Vimarsh Ki Kahaniyon Ka Chayan

Author: Lalsa Yadav
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Alakshit Akhyan : Stri Vimarsh Ki Kahaniyon Ka Chayan
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कथा-लेखन में बीसवीं सदी बड़े अन्तर्विरोधों की सदी रही है। स्त्री को लेकर यह सदी सबसे ज्यादा दुविधाग्रस्त, असहाय और सन्तप्त रही है। महिला कहानीकारों के द्वारा महिला विषयों पर लिखी गयी कहानियाँ स्त्री अनुभव की कहानियाँ हैं। देश, समाज, समय और परिस्थितियों की भिन्नता के बावजूद हर जगह स्त्री वही है और सुख-दु:ख को महसूस करता उसका मन भी एक ही है। स्त्री लेखिकाओं ने अपने दैनिक जीवन के छोटे-छोटे लेकिन तल्ख अनुभवों को अपने कहानियों के माध्यम से नारी अस्मिता से जुड़े सवालों को नये सिरे से उठाया है।

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Language Hindi
Format Paper Back
Publication Year 2019
Edition Year 2019, Ed. 1st
Pages 272p
Translator Not Selected
Editor Not Selected
Publisher Lokbharti Prakashan
Dimensions 22 X 14 X 1
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Author: Lalsa Yadav

डॉ० लालसा यादव

उत्तर प्रदेश के आजमगढ़ जनपद एक गाँव पचरुखवा में एक सामान्य के परिवार में, 1 मई, 1964 को जन्म बचपन में ही पिता के स्नेह से वंचित माँ के संरक्षण एवं निर्देशन में आरंभिक शिक्षा ननिहाल में सम्पन्न हुई। आगे चलकर मामा के सहयोग व प्रेरणा से इलाहाबाद विश्वविद्यालय से बी० ए०, एम० ए० तथा डी० फिल की उपाधि प्राप्त की। हिन्दी के अतिरिक्त संस्कृत में भी एम० ए० । 'विद्यापति की काव्यभाषा' विषय पर प्रो० रामकिशोर शर्मा के निर्देशन में शोधकार्य किया। लगभग पांच माह कानपुर विश्वविद्यालय के आचार्य नरेन्द्रदेव महाविद्यालय में अध्यापन। सितम्बर, 1996 से इलाहाबाद विश्वविद्यालय के हिन्दी विभाग में अध्यापन। आकाशवाणी (इलाहाबाद) के नियमित वार्ताकार। कुछ लेख एवं टिप्पणियाँ पत्र-पत्रिकाओं में प्रकाशित।

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