Author
Chandrakant Devtale

Chandrakant Devtale

5 Books

चन्द्रकान्त देवताले

जन्म : 7 नवम्बर 1936; जौलखेड़ा, ज़िला—बैतूल (मध्यप्रदेश) में।

शिक्षा : एम.ए., पीएच.डी.।

कविता-संग्रह : ‘पहचान’ सीरीज़ में प्रकाशित ‘हड्ड‍ि‍यों में छिपा ज्वर’, ‘दीवारों पर ख़ून से’, ‘लकड़बग्घा हँस रहा है’, ‘रोशनी के मैदान की तरफ़’, ‘भूखंड तप रहा है’, ‘आग हर चीज़ में बताई गई थी’, ‘पत्थर की बैंच’, ‘इतनी पत्थर रोशनी’, ‘उसके सपने’ (विष्णु खरे-चन्द्रकान्‍त पाटील द्वारा सम्पादित संचयन), ‘बदला बेहद महँगा सौदा’ (नवसाक्षरों के लिए साम्प्रदायिकता विरोधी कविताएँ); ‘उजाड़ में संग्रहालय’ (कविता-संग्रह); ‘मुक्तिबोध : कविता और जीवन विवेक’ (आलोचना); सं. : ‘दूसरे-दूसरे आकाश’ (यात्रा-संस्मरण), सं. : ‘डबरे पर सूरज का बिम्ब’ (2002, मुक्तिबोध का प्रतिनिधि गद्य)।

समकालीन साहित्य के बारे में अनेक लेख, विचार-पत्र तथा टिप्पणियाँ प्रकाशित। मराठी से अनुवाद : ‘पिसाटी का बुर्ज : दिलीप चित्रे की कविताएँ’ (1987)। अंग्रेज़ी, मलयालम, मराठी से कविताओं के हिन्दी अनुवाद।

कविताओं के अनुवाद प्रायः सभी भारतीय भाषाओं और कई विदेशी भाषाओं में। अंग्रेज़ी, जर्मन, बंगला, उर्दू, कन्नड़ तथा मलयालम के अनुवाद-संकलनों में कविताएँ शामिल। लम्बी कविता ‘भूखंड तप रहा है’ तथा संकलन ‘उसके सपने’ का मराठी में अनुवाद। ‘आवेग’ के अतिरिक्त ‘त्रिज्या’, ‘वयम्’ तथा मराठी पत्रिका ‘नंतर’ से सम्बद्ध रहे। ब्रेख्त की कहानी सुकरात का घाव का नाट्य-रूपान्तरण।

सम्मान एवं सम्बद्धता : सृजनात्मक लेखन के लिए ‘मुक्तिबोध फ़ेलोशिप’ तथा ‘माखनलाल चतुर्वेदी कविता पुरस्कार’ से सम्मानित। वर्ष म.प्र. शासन का ‘शिखर सम्मान’। उड़ीसा की ‘वर्णमाला साहित्य संस्था’ द्वारा ‘सृजन भारती सम्मान’। ‘अखिल भारतीय मैथिलीशरण गुप्त सम्मान’, ‘पहल सम्मान’।

‘म.प्र. साहित्य परिषद्’ के उपाध्यक्ष के अतिरिक्त ‘नेशनल बुक ट्रस्ट’, ‘राजा राममोहन राय लाइब्रेरी फाउंडेशन’, ‘केन्द्रीय हिन्दी संस्थान’ आदि के सदस्य। ‘केन्द्रीय साहित्य अकादेमी’ के भी सदस्य रहे।

1987 में भारतीय कवियों के प्रतिनिधि-दल के साथ अन्तरराष्ट्रीय प्रेमिओ लित्तेरारिओ मोंदेल्लो, पालेर्मो (इटली) साहित्य समारोह में शिरकत।

सम्प्रति : अतिथि साहित्यकार, ‘प्रेमचन्द सृजनपीठ’, उज्जैन—456010 (म.प्र.)।

निधन : 14 अगस्‍त, 2017

Back to Top